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होंडा का पाकिस्तान स्थित प्लांट 31 मार्च तक बंद:आर्थिक संकट के चलते ऑटो कंपनी ने शट डाउन करने का फैसला लिया, कहा- सप्लाई चेन पूरी तरह बाधित

3 महीने पहले
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पाकिस्तान में आर्थिक संकट के चलते एक के बाद एक कंपनियां बंद हो रही हैं। अब खबर आई है कि जापान की कार मैकर कंपनी होंडा ने पाकिस्तान में स्थित प्लांट को 31 मार्च तक के लिए बंद करने का ऐलान किया है। इससे पहले सुजुकी ने भी पाकिस्तान में अपना प्लांट बंद कर चुकी है।

पाकिस्तान में होंडा ऑटोमोबाइल्स की असेम्बलर होंडा एटलस कार्स का कहना है कि, 'कंपनी अपना प्रोडक्शन जारी नहीं रख पाएगी और 9 से 31 मार्च तक अपने प्लांट को बंद कर रही है।'

इन कारणों से कंपनी ने प्लांट बंद करने का फैसला लिया
ऑटोमेकर ने पाकिस्तान स्टॉक एक्सचेंज को एक नोटिस भेजा, जिसमें कहा गया कि कंपनी की सप्लाई चेन बुरी तरह से प्रभावित हो गई है। पाकिस्तान की सरकार ने कंप्लीटली नॉक-डाउन (CKD) किट, रो मटेरियल के इम्पोर्ट के लिए लेटर ऑफ क्रेडिट (LC) को खोलने पर रोक लगाने और फॉरेन पेमेंट्स को रोकने सहित कड़े उपायों का सहारा लिया, कंपनी की सप्लाई चेन इस तरह के उपायों से भी गंभीर रूप से बाधित हुई है।

  • पाकिस्तानी रुपए में गिरावट के कारण कंपनी को नुकसान : कंपनी के अनुसार पाकिस्तानी रुपए का डीवैल्युएशन और हाई टैक्स के बोझ के चलते वह अपना प्लांट बंद करने को मजबूर है। पाकिस्तानी रुपए में गिरावट आने से कंपनी को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है। विदेशों से इम्पोर्ट महंगा हो गया है। वहीं, हाई टैक्स के चलते कारों की मांग ​तेजी से कम हुई है। इसके चलते प्लांट को बंद करना ही एकमात्र ऑप्शन है।
  • ऑटो पार्ट्स इम्पोर्ट करना हुआ महंगा : प्रोडक्शन एक्टिविटी पर प्रभाव के अलावा, CKD की कीमत में वृद्धि ने पाकिस्तानी लोगों की पहले से ही घटती पर्चेजिंग पावर पर भी असर डाला है। पाकिस्तान हाई इनफ्लेशन रेट और उच्च उधारी लागत के प्रभाव से जूझ रहा है, जिसने मांग को कम कर दिया है और पाकिस्तानी रुपए को गिरा दिया है। ऑटोमोबाइल के पार्ट्स का इम्पोर्ट काफी महंगा हो गया है।

टोयोटा और सुजुकी जैसे बड़े ब्रांड पहले बंद कर चुके हैं अपने प्लांट
पाकिस्तान में आर्थिक संकट के चलते टोयोटा मोटर्स, पाकिस्तान सुजुकी, इंडस मोटर कंपनी ने भी पहले ही अपने प्लांट बंद कर चुकी हैं, जिससे उनकी बिक्री प्रभावित हो रही है। एक स्थानीय ब्रोकरेज फर्म इस्माइल इकबाल सिक्योरिटीज के रिसर्च हैड फहद रऊफ ने कहा कि इन शटडाउन से न सिर्फ कॉर्पोरेट मुनाफे पर असर पड़ता है, बल्कि बेरोजगारी पर भी असर पड़ता है। रउफ ने कहा कि, 'ये शटडाउन जितने लंबे समय तक जारी रहेंगे, कंपनियों को कर्मचारियों की स्ट्रेंथ बनाए रखना उतनी ही मुश्किल होगा।'

IMF के आगे फिर हाथ फैला रहा पाकिस्तान
पाकिस्तान वर्तमान में अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) के साथ 2019 में सहमत 6.5 बिलियन डॉलर के बेलआउट में से 1.1 बिलियन डॉलर की अगली किश्त को अनलॉक करने के लिए बातचीत कर रहा है।

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