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डाउनलोड करेंलखीमपुर हिंसा के मुख्य आरोपी और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र के बेटे आशीष को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। अब 11 अक्टूबर को कोर्ट में सुनवाई होगी। इससे पहले करीब 12 घंटे तक उससे पूछताछ हुई। आशीष पर मर्डर, एक्सीडेंट में मौत, आपराधिक साजिश और लापरवाही से वाहन चलाने की धाराओं में केस दर्ज किया गया है। मजिस्ट्रेट के सामने कलमबंद उसके बयान दर्ज किए गए हैं। आशीष का क्राइम ब्रांच में ही मेडिकल टेस्ट हुआ।
डीआईजी उपेंद्र कुमार ने बताया कि आशीष मिश्रा जांच में सहयोग नहीं कर रहा। कुछ सवालों के जवाब भी नहीं दे सके। इसलिए उसे गिरफ्तार किया गया है। अब कोर्ट में पेश किया जाएगा।
वहीं, आशीष को क्राइम ब्रांच में VIP ट्रीटमेंट मिला। उसे मेडिकल परीक्षण के लिए लखीमपुर जिला अस्पताल ले जाया गया। इसके लिए इमरजेंसी मेडिकल ऑफिसर डॉ. अखिलेश कुमार क्राइम ब्रांच में पहुंचे और मेडिकल टेस्ट किया गया। इससे पहले आशीष घटना के सातवें दिन शनिवार को क्राइम ब्रांच के सामने सुबह 10:36 पर पेश हुआ। इस दौरान उसने रुमाल से अपना मुंह छिपा रखा था। और पिछले दरवाजे से इंट्री की थी।
12 घंटे की पूछताछ में 14 बार भेजा गया चाय-नाश्ता
क्राइम ब्रांच में पूछताछ के दौरान 14 बार चाय और नाश्ता अंदर गया। आशीष मिश्रा के साथ उनके वकील अवधेश सिंह और मंत्री अजय मिश्र टेनी के प्रतिनिधि अरविंद सिंह संजय और भाजपा के सदर विधायक योगेश वर्मा भी अंदर मौजूद रहे। क्राइम ब्रांच के दफ्तर में SDM सदर भी मौजूद रहे।
पूछताछ में 10 एफिडेविट और एक पेन ड्राइव के साथ दो मोबाइल पेश किए गए। इनसे SIT संतुष्ट नहीं दिखी। बताया जा रहा है कि 13 वीडियो SIT को दिए गए हैं। इनकी जांच फॉरेंसिक एक्सपर्ट करेंगे।
आशीष ने दंगल में होने के वीडियो पेश किए
आशीष से 6 लोगों की टीम ने पूछताछ की। लखीमपुर में क्राइम ब्रांच के दफ्तर में आशीष मिश्रा से मजिस्ट्रेट के सामने सवाल-जवाब किए गए। आशीष अपने वकील के साथ मौजूद रहा। पूछताछ में डीआईजी उपेंद्र अग्रवाल और लखीमपुर के एसडीएम भी शामिल रहे।
आशीष मिश्रा ने अपने पक्ष में कई वीडियो पेश किए। उन्होंने 10 लोगों के बयान का हलफनामा भी पेश किया, जो बताते हैं कि वो काफिले के साथ नहीं था, दंगल मैदान में था।
किसानों ने खोल रखा था मोर्चा
संयुक्त किसान मोर्चा लगातार मामले के आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग कर रहा है। किसान अजय मिश्र को मंत्री पद से हटाने और आशीष मिश्रा को गिरफ्तार करने की मांग कर रहे थे। मोर्चे ने इस घटना को लेकर आगे के कार्यक्रमों का भी ऐलान किया है।
अजय मिश्र बोले- हम आपके साथ हैं
लखीमपुर में केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा टेनी ने BJP दफ्तर की बालकनी में आकर समर्थकों से शांत कराया। उन्होंने कहा कि बेटा पूछताछ के लिए गया है। इस सरकार में निष्पक्ष जांच होगी। ऐसी-वैसी कोई बात नहीं है। ऐसी-वैसी कोई बात होगी तो हम आपके साथ हैं।
अजय मिश्रा के इस बयान को एक तरह से गिरफ्तारी की स्थिति में सरकार के लिए चेतावनी के तौर पर देखा जा रहा है। कार्यालय पर मौजूद समर्थकों ने कहा कि आशीष भैया दंगल में थे। घटनास्थल पर किसानों के रूप में आतंकवादी थे।
सिद्धू ने तोड़ा मौन व्रत
इधर, पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष नवजोत सिद्धू ने अपना मौन व्रत तोड़ दिया है। सिद्धू शुक्रवार को लखीमपुर पहुंचे थे। सिद्धू पहले हिंसा में मारे गए किसान लवप्रीत और फिर पत्रकार रमन के यहां पहुंचे। उन्होंने लिखकर कहा था कि जब तक केंद्रीय मंत्री का आरोपी बेटा गिरफ्तार नहीं कर लिया जाता, तब तक मौन धारण कर भूख हड़ताल पर बैठे रहेंगे। सिद्धू करीब 20 घंटे से मौन व्रत पर थे।
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आशीष मिश्र की गिरफ्तारी तय थी
आशीष मिश्र से पूछताछ के बाद उनकी गिरफ्तारी तय मानी जा रही थी। स्थानीय लोगों का दावा है कि जिस थार जीप ने किसानों को कुचला था, उसके पीछे निकली फॉर्च्यूनर में आशीष मिश्र बैठे थे। माना जा रहा है कि यह सबूत सामने आने पर आशीष की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।
इससे पहले लखीमपुर पुलिस ने शुक्रवार को मंत्री के घर पर दोबारा नोटिस चिपकाकर कर आशीष को शनिवार सुबह 11 बजे पूछताछ के लिए बुलाया था। इससे पहले पुलिस ने गुरुवार को नोटिस लगाकर शुक्रवार को 10 बजे पेश होने के लिए कहा था, लेकिन आशीष नहीं पहुंचा। बाद में आशीष ने एक चिट्ठी लिखकर बताया था कि वह बीमार है इसलिए 9 अक्टूबर को पुलिस के सामने पेश होगा।
बड़े नेता के इशारे पर हुई आशीष की पेशी
गुरुवार को केंद्रीय मंत्री अजय मिश्र दिल्ली में थे। सूत्रों का कहना है कि आशीष को पुलिस के सामने पेश होने के लिए अजय मिश्र के पास किसी बड़े नेता ने संदेश भेजा था। इसके बाद वे लखनऊ के लिए रवाना हुए और कहा कि आशीष शनिवार को पुलिस के सामने सामने पेश हो जाएंगे और जांच में सहयोग करेंगे। केंद्रीय मंत्री का ये बयान सुप्रीम कोर्ट की सख्ती के बाद सामने आया है, क्योंकि इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने UP सरकार को फटकार लगाई है।
लखीमपुर में तीसरी बार बंद हुई इंटरनेट सेवाएं
लखीमपुर में 3 अक्टूबर को हिंसा के बाद पहली बार इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई थीं। इसके बाद 5 अक्टूबर को लखीमपुर खीरी, सीतापुर और बहराइच में इंटरनेट सेवाएं बंद की गईं। अब 8 अक्टूबर की शाम से लखीमपुर में इंटरनेट फिर से बंद कर दिया गया है।
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