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डाउनलोड करेंबलिया में गर्मी और उमस के बीच बरसात का दौर भी अब शुरु हो चुका है। ऐसे में सड़े-गले फल तथा मिलावटी खाद्य पदार्थ खासकर मिठाई का सेवन नुकसानदेह हो सकता है। ऐसे में अब फूड विभाग भी सक्रिय हो गया है। गुरुवार को ग्रामीण इलाकों के चट्टी-चौराहों पर संचालित खाद्य वस्तुओं की दुकानों पर छापेमारी किया। टीम ने संदिग्ध खाद्य सामग्री का नमूना लेकर जांच के लिये भेजा।
जांच के लिए भेजे गए सैंपल
शिकायत के आधार पर खाद्य सुरक्षा विभाग की टीम ने फेफना, चितबड़ागांव, धर्मापुर मोड़, कारों आदि जगहों पर पहुंचकर किराना एवं मिठाई की दुकानों की जांच किया। इस दौरान चौरसिया मिष्ठान भंडार मौजूद छेना की मिठाई में टीम के सदस्यों को प्रथमदृष्टया मिलावट (अवमानक) होने का संदेह हुआ। इसके बाद खाद्य सुरक्षा अधिकारी चंद्र प्रकाश यादव ने दुकानदार को नोटिस देने के साथ छेने की मिठाई का नमूना लेकर जांच के लिये भेजा। टीम ने तीन अन्य मिठाई की दुकानों का निरीक्षण किया। छानबीन में दुकानों का रजिस्ट्रेशन नहीं मिला, लिहाजा उन्हें नोटिस जारी किया गया। कार्रवाई से दुकानदारों में खलबली मच गयी तथा कई दुकान बंद कर फरार हो गए।
दुकानों में नहीं मिली साफ-सफाई
चितबड़ागांव बाजार में जांच के दौरान टीम को तीन-चार दुकानों पर साफ-सफाई बेहतर नहीं मिला। अफसरों ने उन्हें सफाई इंतजाम बेहतर करने का निर्देश दिया। मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी दीपक कुमार श्रीवास्तव ने कहा की 30 जून तक सभी दुकानदारों को पंजीकरण करना अनिवार्य है। ऐसा नहीं करने पर दुकानदारों को खिलाफ कार्रवाई की जायेगी। कहा कि रजिस्ट्रेशन के लिये ऑनलाइन आवेदन कर रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं। उन्होंने कहा कि पंजीकरण नहीं कराने वाले दुकानदारों के खिलाफ अभियान चलाकर कार्रवाई की जायेगी। कार्रवाई करने वाली टीम में खाद्य सुरक्षा अधिकारी चंद्र प्रकाश यादव, खाद्य सहायक दयाशंकर आदि थे।
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