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डाउनलोड करेंअमेठी में विकास के बड़े-बड़े वादों का भाषण कांग्रेस और भाजपा करती चली आ रही है। सच्चाई यह है कि जनता को विकास रूपी सुविधाएं तो दूर अभी यहां सरकारी तंत्र को विकास की दरकार है। यकीन नहीं आता तो ब्लॉक शुकुल बाजार की इस बदहाल बिल्डिंग को देख लीजिए।
इस कार्यालय से करोड़ों रुपए की विकास योजनाएं संचालित होती हैं, लेकिन यह खुद अपने जीर्णोद्धार की बाट जोह रही है। विकास खंड की अधिकांश इमारत खस्ताहाल हैं। वो भी तब जब खुद इस भवन में बैठकर 54 ग्राम पंचायतों को स्वच्छ और सुंदर बनाने का खाका तैयार किया जाता है। उसकी खिड़की, दरवाजे, रोशनदान और छत बदहाली का शिकार है। विकास खंड में बना तकनीकी सहायक, रोजगार सेवक और प्रधानों के बैठने का कक्ष पूरी तरह से जर्जर हो चुका है।
आखिर कहां जा रहा मेंटेनेंस का बजट
ADO पंचायत का जर्जर कक्ष कभी भी बड़े हादसे का कारण बन सकता है। शौचालय और पेशाब घर में गंदगी की भरमार है। ऐसे में गंदगी से जूझ रहे विकास खंड के अफसर कागजों में गांवों को ODF बनाने का दम भर रहे हैं। यहां काम करने वाले कर्मचारी शौचालय व सफाई जैसी मूलभूत सुविधाओं से वंचित हैं।
54 ग्राम पंचायतों का बजट भले यहां से निर्धारित होता हो, क्षेत्र पंचायत का अपना खुद का भी एक बजट होता है, परंतु विकास खंड कार्यालय के रख-रखाव के लिए जो बजट आता है, पता नहीं वह किस मद में इस्तेमाल किया जाता है। हालत को देखकर ऐसा लगता कि शायद यह कार्यालय सिर्फ दिखावे के लिए ही बना है।
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