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डाउनलोड करेंत्रि स्तरीय पंचायत चुनाव के मतदान के एक दिन पहले कांग्रेस ने प्रेस काॅन्फ्रेंस लेकर स्थानीय विधायक और प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल पर हार के डर से प्रशासन का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया है। वहीं मंत्री कमल पटेल का कहना है कि कांग्रेस के लगाए सारे आरोप बेबुनियाद है। कांग्रेस की हालत खिसयानी बिल्ली खंभा नोचे जैसी हो गई है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने गत दिवस झूठी शिकायत कर उनके एक नजदीक रिश्तेदार के यहां पर पुलिस भेजी थी। वहीं, कांग्रेस से चुनाव लड़ने वाले कुछ प्रत्याशी हिस्ट्रीशीटर बदमाश है जो लोगों को डरा धमकाकर कर चुनाव जीतने का प्रयास कर रहे है।
कांग्रेस कार्यालय में पूर्व विधायक डॉ. आरके दोगने और जिलाध्यक्ष ओम पटेल ने आरोप लगाया है कि मंत्री कमल पटेल जिले में विभिन्न पंचायतों के गांवों में जनसपंर्क कर रहे हैं। आम लोगों को व्यक्ति के पक्ष में मतदान करने को कह रहे हैं। उन्होंने मांग की है कि मंत्री पटेल ने जिस भी क्षेत्र में जाकर जनसंपर्क किया है। उस खर्चे को संबंधित प्रत्याशी के चुनाव खर्चे में जोड़ा जाए। जिलाध्यक्ष ओम पटेल का आरोप है कि भाजपा से जुड़े लोगों पर पुलिस कोई कार्यवाही नहीं कर रही है। वहीं कांग्रेस पदाधिकारियों ओर कार्यकर्ताओं को जबरन परेशान किया जा रहा है। उन्होंने कहा है कि सन्यासा, रोलगांव, नयापुरा, गोंदागांव, रातातलाई आदि गांवों में खुलेआम शराब और रुपया मतदाताओं को दिया जा रहा है। जिसको लेकर हमने निर्वाचन आयोग से शिकायत भी दर्ज कराई है।
साथ ही आरोप लगाया है कि भाजपा से जुड़े युवा मोर्चा के पूर्व जिलाध्यक्ष सुभाष शर्मा का नाम शहर की मतदाता सूची में दर्ज होने के साथ साथ खिरकिया के वार्ड नंंबर 10 की मतदाता सूची में भी शामिल है। इस तरह से यह प्रतीत हो रहा है कि पुलिस और प्रशासन मंत्री के दबाव में आकर काम कर रहा है। उन्होंने निर्वाचन आयोग से निष्पक्ष मतदान कराने की मांग की है।
मंत्री कमल पटेल का कहना है कि कांग्रेस झूठी शिकायत कर रही है। कांग्रेस के लोग ही गुंडागर्दी पर उतर आए है। उन्होंने कहा कि यदि प्रशासन उनके दवाब में होता तो उनके रिश्तेदार के घर पुलिस नहीं जाती। उनका कहना है कि प्रशासन का कोई दुरुपयोग नहीं किया गया है।
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