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डाउनलोड करेंदिल्ली,वाराणसी और बेंगलुरु एयरपोर्ट ने घरेलू यात्रियों के फेशियल रिकग्निशन (FR) के लिए एक ऐप 'डिजियात्रा' लॉन्च किया है। नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने दिल्ली के हवाई अड्डे पर चेहरे की पहचान के आधार पर हवाई यात्रियों को प्रवेश देने वाली सुविधा ‘डिजियात्रा’ की गुरुवार को शुरुआत की।
इस ऐप की मदद से चेहरे की पहचान के आधार पर सभी चेकप्वाइंट पर यात्रियों की एंट्री होगी। एयरपोर्ट की एंट्री, सिक्योरिटी चेक और बोर्डिंग गेट तीनों जगहों पर ऐप से ही काम हो जाएगा। दिल्ली एयरपोर्ट पर अभी इसे घरेलू यात्रियों के लिए टी3 टर्मिनल पर शुरू किया गया है। इससे पहले अगस्त में डिजियात्रा को टेस्टिंग के तौर पर सॉफ्ट लॉन्च किया गया था।
ई-गेट के जरिए होगा एयरपोर्ट में प्रवेश
डिजियात्रा ऐप में आधार के जरिए वैरिफिकेशन होगा और यात्री को अपनी तस्वीर भी लेनी होगी। एयरपोर्ट के ई-गेट पर यात्री को पहले बार-कोड वाला बोर्डिंग पास स्कैन करना होगा। इसके बाद वहां लगी 'फेशियल रिकग्निशन' प्रणाली यात्री की पहचान और यात्रा दस्तावेज का वैरिफिकेशन करेगी। इस प्रक्रिया के बाद यात्री ई-गेट के जरिए एयरपोर्ट एंटर हो सकेंगे।
डिजियात्रा ऐप में आधार के जरिए वैरिफिकेशन केवल एक बार ही करना होगा। इसके बाद जब भी आप यात्रा करेंगे तो आपको वेब चेक-इन के बाद अपना टिकट ऐप पर अपलोड करना होगा। एयरपोर्ट पहुंचने के बाद आपको अपना टिकट स्कैनर पर रखना होगा। कहां पर आपका चेहरा स्कैन होगा। इसके बाद आपकी एंट्री हो जाएगी।
क्या है फेशियल रिकग्निशन सिस्टम?
ये बायोमेट्रिक सिस्टम है जो व्यक्ति की पहचान उसके चेहरे, आंखों, मुंह के कॉम्बिनेशन से करती है। इसमें चेहरे के सभी एलिमेंट खासकर आंखें और मुंह को रीड किया जाता है। फिर पहचान के लिए चेहरे की 3D इमेज बनाकर डेटाबेस में सेव की जाती है। इस तकनीक का आविष्कार अमेरिकी वैज्ञानिकों की टीम ने किया था। इसमें वूडी ब्लेडसोए, हेलेन चान वूल्फ और चाल्र्स बाइसन शामिल थे।
FR सिस्टम कैसे करता है काम?
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